Planet News India

Latest News in Hindi

ASEAN: ‘समुद्री सुरक्षा और आर्थिक साझेदारी बने स्थिरता के स्तंभ’, आसियान-भारत बैठक में बोले राजनाथ सिंह|

ASEAN: ‘समुद्री सुरक्षा और आर्थिक साझेदारी बने स्थिरता के स्तंभ’, आसियान-भारत बैठक में बोले राजनाथ सिंह|
ASEAN: ‘समुद्री सुरक्षा और आर्थिक साझेदारी बने स्थिरता के स्तंभ’, आसियान-भारत बैठक में बोले राजनाथ सिंह|

आसियान-भारत रक्षा मंत्रियों की अनौपचारिक बैठक में राजनाथ सिंह ने भारत और आसियान दोनों ने तेज आर्थिक विकास दिखाया है और अब पारस्परिक समृद्धि के लिए आर्थिक संबंधों को और गहरा करने का समय है।

ASEAN: ‘समुद्री सुरक्षा और आर्थिक साझेदारी बने स्थिरता के स्तंभ’, आसियान-भारत बैठक में बोले राजनाथ सिंह|

विस्तार

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आसियान-भारत रक्षा मंत्रियों की अनौपचारिक बैठक में कहा कि बदलते वैश्विक परिदृश्य में आसियान-भारत संबंध स्थिरता का एक मजबूत स्तंभ बने रहेंगे। उन्होंने कहा कि भारत और आसियान दोनों ने तेज आर्थिक विकास दिखाया है और अब पारस्परिक समृद्धि के लिए आर्थिक संबंधों को और गहरा करने का समय है। मंत्री ने कहा कि हम आसियान-भारत वस्तु व्यापार समझौते की समीक्षा के जल्द पूरा होने की आशा करते हैं।

समुद्री सुरक्षा को बताया भारत-आसियान साझेदारी का केंद्रबिंदु

रक्षा मंत्री ने कहा कि समुद्री सुरक्षा भारत-आसियान साझेदारी का प्रमुख क्षेत्र है। उन्होंने आसियान देशों की प्रशंसा करते हुए कहा कि आसियान-भारत समुद्री अभ्यास के दूसरे संस्करण को मंजूरी देना क्षेत्रीय स्थिरता की दिशा में अहम कदम है।

यूएनसीएलओएस के सिद्धांतों पर आधारित समुद्री व्यवस्था

उन्होंने कहा कि हिंद-प्रशांत क्षेत्र में समुद्री मार्गों की सुरक्षा भारत के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता है, क्योंकि भारत के आधे से अधिक व्यापार का आवागमन दक्षिण चीन सागर और मलक्का जलडमरूमध्य से होता है। सिंह ने कहा कि भारत संयुक्त राष्ट्र समुद्र कानून (UNCLOS) के सिद्धांतों पर आधारित समुद्री व्यवस्था का समर्थन करता है और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान का पक्षधर है। उन्होंने यह भी कहा कि दक्षिण चीन सागर में किसी भी आचार संहिता को सभी देशों के वैध हितों का सम्मान करना चाहिए ताकि क्षेत्रीय हित सुरक्षित रह सकें।

महिला शांति रक्षकों के लिए नई पहल का प्रस्ताव

बैठक में राजनाथ सिंह ने संयुक्त राष्ट्र शांति अभियानों में महिलाओं की भागीदारी को बढ़ावा देने के लिए आसियान-भारत पहल के दूसरे संस्करण की घोषणा की। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम में दो चरण होंगे, पहले चरण में महिला सैन्य अधिकारियों के लिए विशेष प्रशिक्षण कोर्स होंगे, जबकि दूसरे चरण में नागरिकों की सुरक्षा और महिला शांति रक्षकों की भूमिका पर एक टेबल-टॉप अभ्यास आयोजित किया जाएगा।

आतंकवाद-रोधी अभियान पर जोर 

सिंह ने कहा कि भारत आपदा राहत, आतंकवाद-रोधी अभियान और समुद्री सुरक्षा में अहम योगदान दे रहा है। उन्होंने दोनों क्षेत्रों के बीच रणनीतिक सहयोग को मजबूत करने के लिए एक संयुक्त रक्षा थिंक टैंक मंच बनाने का प्रस्ताव रखा। उन्होंने कहा कि यह मंच नीति अनुसंधान, संवाद और क्षमता निर्माण को बढ़ावा देगा, जिससे हिंद-प्रशांत क्षेत्र की बदलती सुरक्षा चुनौतियों से निपटने में मदद मिलेगी।

आसियान-भारत समुद्री अभ्यास में भागीदारी का किया आह्वान

उन्होंने आसियान देशों से आग्रह किया कि वे अपने-अपने देशों के प्रमुख रक्षा विशेषज्ञों और शिक्षाविदों को इस मंच में शामिल होने के लिए नामित करें। रक्षा मंत्री ने कहा कि मैं सभी आसियान सदस्य देशों की भागीदारी की उम्मीद करता हूं, जो 2026 में भारत में आयोजित होने वाले आसियान-भारत समुद्री अभ्यास और अंतरराष्ट्रीय फ्लीट रिव्यू में हिस्सा लेंगे। ये कार्यक्रम नौसैनिक सहयोग को मजबूत करेंगे और समुद्री सुरक्षा व नौवहन की स्वतंत्रता सुनिश्चित करेंगे। इसके साथ ही रक्षा मंत्री ने सिंगापुर के रक्षा मंत्री चान चुन सिंग के साथ द्विपक्षीय बैठक की।

ILMA NEWSINDIA
Author: ILMA NEWSINDIA

About The Author

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *