यात्रीगण कृपया ध्यान दें: अंबाला-जालंधर तक डलेगी नई रेल लाइन, 160 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से दौड़ सकेगी ट्रेन
दिल्ली से अंबाला कैंट रेलवे स्टेशन तक दो नई रेल लाइन बिछाई जाएंगी। यह कार्य दिल्ली मंडल के अधीन किया जाएगा। इस पर भी पांच से छह हजार करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है।

अंबाला से जालंधर तक तीसरी नई रेल लाइन बिछाई जाएगी। इस योजना पर लगभग 3200 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इस मार्ग पर लगातार बढ़ रही ट्रेनों की संख्या को देखते हुए रेलवे ने यह फैसला किया है। इस योजना के तहत रेलवे ने सर्वे पूरा करवा लिया है। वहीं रेलवे के निर्माण विभाग ने भी प्रस्ताव तैयार करके रेलवे बोर्ड के पास मान्यता के लिए भेज दिया है। नई लाइन के लिए हरियाणा और पंजाब में 20 से 30 फुट तक जालंधर से अंबाला की तरफ आने वाली पुरानी लाइन के साथ ही जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा
अंबाला मंडल के अधीन बिछाई जाएगी 153 किमी लंबी लाइन
अंबाला रेल मंडल के अधीन नई रेल लाइन बिछाने का कार्य किया जाएगा। लगभग 153 किमी लंबी रेल लाइन अंबाला से लेकर जालंधर तक बिछाई जाएगी। यह कार्य दो चरणों में किया जाएगा। पहले चरण में अंबाला से लुधियाना तक और दूसरे चरण में लुधियाना से जालंधर तक रेल लाइन बिछाई जाएगी ताकि पूर्व में चल रही ट्रेनों का संचालन बाधित न हो।
160 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से दौड़ सकेगी ट्रेन
अंबाला से जालंधर तक बिछाई जाने वाली रेल लाइन का काम अत्याधुनिक मशीनों के माध्यम से किया जाएगा। इस नई रेल लाइन को इस ढंग से तैयार किया जाएगा ताकि ट्रेनें 130 किमी से लेकर 160 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से दौड़ सकें। इस नई लाइन को भी सेंसर प्रणाली व स्विच सिस्टम से लैस किया जाएगा जोकि किसी भी दुर्घटना के समय काफी कारगर साबित होता है। इस नई रेल लाइन पर सिग्नल सिस्टम भी स्वचलित प्रणाली से लैस होगा।
दिल्ली से अंबाला तक बिछेंगी दो लाइनें
दिल्ली से अंबाला कैंट रेलवे स्टेशन तक दो नई रेल लाइन बिछाई जाएंगी। यह कार्य दिल्ली मंडल के अधीन किया जाएगा। इस पर भी पांच से छह हजार करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। इस नई रेल लाइन का भी सर्वे पूरा हो चुका है और जल्द ही इस पर भी रेलवे बोर्ड की मोहर लग सकती है। यह पूरा कार्य ड्रोन के माध्यम से किया गया है। इस दौरान यह भी ध्यान रखा गया है कि बीच रास्ते में आने वाली किसी भी इमारत को कोई नुकसान न हो। इसके लिए आरओबी और आरयूबी भी बनाने की योजना है।
मौजूदा समय में अंबाला से गुजर रही तीन लाइनें
मौजूदा समय में अंबाला कैंट रेलवे स्टेशन से तीन रेल लाइनें गुजर रही हैं। इसमें दो यात्री ट्रेनों के लिए है और एक डीएफसीसीआईएल कॉरिडोर के तहत मालगाड़ियों के लिए। इस पर भी लगभग 5500 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे। डीएफसीसीआईएल की यह रेल लाइन उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से जुड़ी हुई है जबकि दिल्ली की तरफ से अभी दो रेल लाइनें ही अंबाला की तरफ आ रही हैं और इन्हीं पर माल गाड़ियों सहित यात्री ट्रेनों का संचालन हो रहा है।
नई ट्रेनों के संचालन में कारगर होगी योजना
दिल्ली से अंबाला और अंबाला से जालंधर तक रेल लाइन के बिछने से कई राज्यों को इसका सीधा फायदा मिलेगा। इसमें दिल्ली के अलावा हरियाणा, पंजाब, उत्तराखंड, राजस्थान राज्यों से यात्री बिना किसी परेशानी के आवागमन कर सकेंगे और नई ट्रेनों के संचालन को लेकर भी रुपरेखा तैयार की जाएगी। अगले चरण में इस नई रेल लाइन का विस्तार जम्मू तक भी हो सकता है।
300 ट्रेनें, 50 हजार यात्री
मौजूदा समय में अंबाला से पंजाब, दिल्ली और जम्मू की तरफ लगभग 300 से अधिक ट्रेनों का संचालन हो रहा है। रोजाना लगभग 50 हजार यात्री कैंट स्टेशन से आवागमन करते हैं। जिस प्रकार ट्रेनों और यात्रियों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है, उस आधार पर अब व्यस्त रेल मार्गाें पर नई ट्रेनों के संचालन को लेकर भी योजनाएं तैयार की जा रही है।
अधिकारी के अनुसार
दिल्ली से अंबाला और अंबाला से जालंधर तक नई रेल लाइन को लेकर सर्वे किया गया था। संबंधित विभाग ने इसे रेलवे बोर्ड के सुपुर्द किया है। आगामी जो भी निर्देश मिलेंगे, उसके तहत ही आगामी कार्रवाई की जाएगी